मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल के पहले बजट का पिटारा खुल चुका है। मंगलवार को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आम बजट पेश किया। इस बजट को आर, आर, आर भी का जा सकता है। यानी रोजी, रोटी और राजनीति। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को लगातार सातवीं बार बजट पेश करने का रिकॉर्ड बनाया। 1 घंटे 23 मिनट के भाषण में उनका फोकस शिक्षा, रोजगार, किसान, महिला और युवाओं पर रहा। इसके अलावा नीतीश कुमार के बिहार और चंद्रबाबू नायडू के आंध्र प्रदेश पर केंद्र सरकार मेहरबान रही। दरअसल, इस बजट में बीजेपी के सहयोगी दलों की बल्ले बल्ले हुई है। इस बार के लोकसभा चुनाव में बीजेपी को इतनी सीट नहीं मिल पाई थी कि वो अपने बूते सरकार बना ले। इस बार की सरकार एनडीए की सरकार है और बिहार की पार्टी जेडीयू और आंध्र प्रदेश की पार्टी टीडीपी, बीजेपी के सबसे बड़े सहयोगी दल हैं। दोनों ही सहयोगी अपने अपने राज्य को विशेष राज्य का दर्जा देने की मांग कर रहे थे। विशेष दर्जा तो नहीं मिला लेकिन आंध्र प्रदेश और बिहार को बजट में सबसे ज्यादा तवज्जो दी गई है। इतनी तवज्जो कि विपक्षी दलों ने भी इसे लेकर कटाक्ष किया है।
बजट में इस बार रोजगार,राहत,रμतार वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को सातवीं बार पेश आम बजट में आयकर मोर्चे पर मध्यम वर्ग एवं नौकरीपेशा लोगों को राहत देने और अगले पांच साल में रोजगार सृजन के लिए दो लाख करोड़ रुपए के आवंटन की घोषणा की। आर्थिक वृद्धि को बढ़ावा देने के लिए बजट में बुनियादी ढांचा परियोजनाओं के लिए 11.11 लाख करोड़ रुपए का आवंटन किया गया है। यह जीडीपी का 3.4 प्रतिशत है। सीतारमण ने स्टार्टअप में सभी श्रेणी के निवेशकों के लिए एंजल कर समाप्त करने की घोषणा की। बजट में उधारियों को छोड़कर कुल प्राप्तियां 32.07 लाख करोड़ और व्यय 48.21 लाख करोड़ रहने का अनुमान लगाया गया है। शुद्ध कर प्राप्ति 25.83 लाख करोड़ रुपए अनुमानित है।
अवसर युवाओं के लिए
रोजगार को बढ़ावा देने के लिए, बजट में कंपनियों के लिए प्रोत्साहन का प्रावधान किया गया है। इसमें पहली बार काम करने वाले कर्मचारियों के लिए एक महीने के वेतन का भुगतान किया जाएगा। पहली नौकरी में एक लाख रुपए से कम वेतन होने पर ईपीएफओ में रजिस्टर करने वालों को 15 हजार रुपए की मदद सरकार देगी। इससे लगभग 2 करोड़ युवाओं को फायदा होगा। स्किल डेवलपमेंट के साथ छात्रों के लिए इंटर्नशिप के लिए एक कार्यक्रम चलाया जाएगा। युवाओं को उच्च शिक्षा प्राप्त करने के लिए रियायती कर्ज भी प्रदान किया जाएगा।
- 4.1 करोड़ युवाओं के लिए पांच साल में रोजगार।
- पांच साल में एक करोड़ युवाओं को पांच सौ टॉप कंपनियों में इंटर्नशिप।
- पांच साल में 20 लाख युवाओं के कौशल विकास के लिए नई योजना।
- सरकार नियोक्ता को उसके ईपीएफओ योगदान के लिए दो साल तक हर अतिरिक्त कर्मचारी पर 3000 हजार रुपए प्रत्येक महीना देगी।
- 1,000 औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों का अपग्रेडेशन।
- 7.5 लाख रुपए तक के ऋण की सुविधा उपलब्ध कराने के लिए मॉडल कौशल ऋण योजना
- मुद्रा योजना के तहत छोटे उद्यमों के लिए कर्ज सीमा 10 लाख रुपए से बढ़ाकर 20 लाख रुपए कर दी गई है। इससे युवाओं को बड़ा लाभ मिलेगा।
- सरकार की योजनाओं और नीतियों के तहत किसी लाभ के लिए पात्र नहीं होने वाले युवाओं को घरेलू संस्थानों में उच्चतर शिक्षा के लिए 10 लाख रुपए तक के ऋण दिया जाएगा।
मिडिल क्लास
मध्यम वर्ग के लिए स्टैंडर्ड डिडक्शन 50 प्रतिशत बढ़ाकर 75,000 रुपए कर दिया गया है। पहले यह 50 हजार रुपए था। नई कर व्यवस्था के तहत सालाना 17,500 रुपए तक की बचत होगी। हालांकि, इसमें कोई छूट भी नहीं है। पेंशनभोगियों के लिए पारिवारिक पेंशन पर कटौती 15,000 रुपए से बढ़ाकर 25,000 रुपए की गई। नई व्यवस्था में 3 लाख तक जीरो टैक्स रहेगा। नई टैक्स रिजीम में अब 7.75 लाख तक की आय टैक्स फ्री हो गई है। देश में करीब 5 करोड़ करदाताओं ने नई रिजीम अपना ली है। करीब 2.5 करोड़ पुरानी व्यवस्था में टैक्स दे रहे हैं।
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इंफ्रास्ट्रक्चर
इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए 11 लाख 11 हजार 111 करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे। बिहार में 3 एक्सप्रेसवे, दो मंदिरों में कॉरिडोर के लिए स्कीम का ऐलान किया है। इसके साथ ही पूर्वी राज्यों में इंडस्ट्रियल कॉरिडोर व अन्य विकास के लिए के लिए पूर्वोदय स्कीम का ऐलान किया है। ग्रामीण इन्फ्रा सहित ग्रामीण विकास के लिए 2.66 लाख करोड़ रुपए आवंटित किए गए हैं। ग्रामीण और शहरी इलाकों में प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत तीन करोड़ अतिरिक्त मकानों का निर्माण किया जाएगा। पूर्वी राज्यों में सड़कों के नेटवर्क को मजबूत बनाने पर विशेष जोर दिया गया है।
- पटना-पूर्णिया एक्सप्रेस-वे, बक्सर- भागलपुर एक्सप्रेस-वे, बोधगया- राजगीर-वैशाली-दरभंगा एक्सप्रेस-वे और बक्सर में गंगा नदी पर दो लेन का पुल बनाया जाएगा।
- अमृतसर-कोलकाता औद्योगिक कॉरिडोर के तहत गया में औद्योगिक केंद्र बनाया जाएगा।
- प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना में 25,000 ग्रामीण बसाहटों के लिए बारहमासी सड़क संपर्क उपलब्ध होगा। इंडस्ट्रियल कॉरिडोर डेवलपमेंट प्रोग्राम के तहत 12 इंडस्ट्रियल पार्क बनेंगे।
- पूर्वी राज्यों बिहार, झारखंड, पश्चिम बंगाल, ओडिशा और आंध्र प्रदेश के विकास के लिए 26,000 करोड़ रुपए की लागत से एक्सप्रेस-वे बनाए जाएंगे।
- 21,400 करोड़ रुपए की लागत से विद्युत परियोजनाएं पर काम होगा।
- खरीददारों को ट्रेड्स प्लेटफॉर्म पर अनिवार्य रूप से शामिल करने के लिए कारोबार की सीमा को 500 करोड़ रुपए से घटाकर 250 करोड़ रुपए की गई।