मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में मच्छर जनित बीमारियों का खतरा लगातार बढ़ता जा रहा है। डेंगू के साथ अब चिकनगुनिया भी तेजी से पैर पसार रहा है। स्वास्थ्य विभाग के ताज़ा आंकड़ों के अनुसार, इस साल अब तक डेंगू के 104 मामले सामने आए हैं, जबकि चिकनगुनिया के 70 मरीज मिले हैं।

हालांकि चिकनगुनिया की जांच डेंगू की तुलना में चार गुना कम हुई है, फिर भी इसकी पॉजिटिव दर 3.49 प्रतिशत रही है, जो डेंगू की 1.31 प्रतिशत पॉजिटिव दर से कहीं अधिक है। विशेषज्ञों का कहना है कि राजधानी में अब डेंगू से अधिक चिकनगुनिया तेजी से फैल रहा है।

आंकड़े बताते हैं खतरे की रफ्तार

  • कुल 7971 लोगों की डेंगू जांच, जिनमें 104 पॉजिटिव

  • कुल 2006 लोगों की चिकनगुनिया जांच, जिनमें 70 पॉजिटिव

  • सितंबर में सबसे अधिक डेंगू के मामले सामने आए — जनवरी से अगस्त तक जहां 68 मरीज मिले, वहीं अकेले सितंबर में 36 नए मामले दर्ज किए गए।

  • स्वास्थ्य विभाग की चेतावनी

    स्वास्थ्य विभाग का कहना है कि आने वाले दिनों में मामलों की संख्या और बढ़ सकती है। टीटी नगर, बागसेवनियां, शाहजहांनाबाद और इब्राहिमपुरा क्षेत्रों में संक्रमण की स्थिति ज्यादा गंभीर है।

    जेपी अस्पताल, हमीदिया, बीएमएचआरसी और एम्स भोपाल सहित सभी सरकारी स्वास्थ्य केन्द्रों पर डेंगू और चिकनगुनिया की मुफ़्त जांच की सुविधा उपलब्ध है।

    लक्षण और सावधानियाँ

    डॉक्टरों के अनुसार, अगर किसी व्यक्ति को

    • तेज़ बुखार,

    • सर्दी लगना,

    • मांसपेशियों या आंखों के पीछे दर्द महसूस हो,
      तो उसे तुरंत जांच करानी चाहिए।

          बचाव के उपाय:

      • मच्छरों के काटने से बचें

      • आसपास पानी न जमने दें

      • पूरी आस्तीन के कपड़े पहनें

      • घर और मोहल्ले में सफाई रखें