एडीलेड। भारत के पूर्व मुख्य कोच ग्रेग चैपल ने कहा है कि विराट कोहली और रोहित शर्मा का स्वर्णिम युग केवल रिकॉर्ड बुक में ही नहीं, बल्कि क्रिकेट प्रेमियों के दिलों में भी हमेशा के लिए अंकित रहेगा। चैपल ने ‘ईएसपीएन क्रिकइंफो’ के लिए लिखे अपने कॉलम में बताया कि ये दोनों दिग्गज खिलाड़ी करियर के अंतिम पड़ाव पर हैं, लेकिन उनकी विरासत आंकड़ों से कहीं आगे है। चैपल ने कहा, “कोहली कभी सिर्फ एक बल्लेबाज नहीं थे, वह एक आंदोलन थे। उन्होंने भारत की एकदिवसीय टीम को तेज, केंद्रित और पूरी तरह से फिट टीम में बदल दिया, जो हर परिस्थिति में जीतने के लिए खेलती थी। उन्होंने आगे कहा कि कोहली का जुनून, समझौता न करने वाला रवैया और टीम के लिए खेलना उनकी असली विरासत है, जो आंकड़ों से अधिक महत्वपूर्ण है। वहीं, रोहित शर्मा की विनम्रता, कलात्मकता और संघर्ष की कहानी भी सभी के दिलों में जिंदा रहेगी। चैपल ने बताया कि रोहित ने 2013 में इंग्लैंड के खिलाफ घरेलू श्रृंखला में ओपनिंग का मौका पाकर अपनी बल्लेबाजी में एक नई चमक दिखाई। इसके बाद उन्होंने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ दोहरा शतक जड़कर भारतीय क्रिकेट में अपनी जगह पक्की कर ली। “रोहित की वापसी की कहानी हमें याद दिलाती है कि क्रिकेट में और जिंदगी में – टाइमिंग ही सबसे महत्वपूर्ण होती है,चैपल ने लिखा। ग्रेग चैपल के अनुसार, कोहली ने व्यक्तिगत रिकॉर्ड से अधिक टीम के नतीजों को महत्व दिया और हमेशा कहा कि वे ‘भारत के लिए खेलते हैं, रिकॉर्ड के लिए नहीं।’ यह सोच उनकी कप्तानी का मूल मंत्र बनी और भारतीय क्रिकेट के इतिहास में एक नया अध्याय लिखा।