टोक्यो। जापान की राजनीति में ऐतिहासिक बदलाव की बयार चल पड़ी है। सत्तारूढ़ लिबरल डेमोक्रेटिक पार्टी (एलडीपी) ने शनिवार को पूर्व आर्थिक सुरक्षा मंत्री साने ताकाइची को अपना नया अध्यक्ष चुन लिया है। ताकाइची ने कृषि मंत्री शिंजिरो कोइज़ुमी को कड़े मुकाबले में मात दी। इस जीत के साथ उनके देश की पहली महिला प्रधानमंत्री बनने का रास्ता लगभग साफ हो गया है, क्योंकि संसद में अगले सप्ताह होने वाले मतदान में एलडीपी-कोमेइतो गठबंधन के बहुमत के कारण उनकी नियुक्ति तय मानी जा रही है।

पहले दौर के मतदान में ताकाइची को 183 और कोइज़ुमी को 164 वोट मिले। किसी को भी पूर्ण बहुमत न मिलने पर रनऑफ में ताकाइची ने जीत हासिल की। इस चुनाव में करीब 10 लाख पार्टी सदस्यों और सांसदों ने मतदान किया। एलडीपी के पांच उम्मीदवारों में ताकाइची, कोइज़ुमी और कैबिनेट सचिव योशिमासा हायाशी प्रमुख दावेदार थे।

ताकाइची पार्टी के अल्ट्रा-रूढ़िवादी धड़े से आती हैं। यदि संसद में उन्हें समर्थन मिल जाता है, तो वह जापान की पहली महिला प्रधानमंत्री बन जाएंगी। वहीं, कोइज़ुमी के जीतने पर वह जापान के एक सदी से अधिक समय में सबसे युवा प्रधानमंत्री होते।

वर्तमान प्रधानमंत्री शिगेरु इशिबा ने हाल ही में जुलाई के संसदीय चुनावों में पार्टी की हार की जिम्मेदारी लेते हुए इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद पार्टी नेतृत्व के लिए यह चुनाव आयोजित किया गया।

राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि एलडीपी इस बार ऐसे नेता की तलाश में थी जो जनता का विश्वास दोबारा जीत सके और गठबंधन की स्थिरता बनाए रखे। वहीं, सभी उम्मीदवारों ने लैंगिक समानता और ऐतिहासिक विवादों जैसे संवेदनशील मुद्दों से दूरी बनाकर महंगाई, वेतन वृद्धि, रक्षा खर्च और अर्थव्यवस्था को सशक्त बनाने जैसे मुद्दों पर फोकस किया।

नए प्रधानमंत्री के रूप में ताकाइची के सामने पहली बड़ी चुनौती अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से होने वाली शिखर वार्ता होगी। इसमें रक्षा खर्च और एशिया-प्रशांत क्षेत्र में रणनीतिक सहयोग जैसे अहम मुद्दों पर चर्चा होने की संभावना है। यह मुलाकात अक्टूबर के अंत में दक्षिण कोरिया में होने वाले एपेक शिखर सम्मेलन से पहले हो सकती है।