लखनऊ। अलग-अलग जगहों से गिरफ्तार आतंकियों से पूछताछ में बड़ा खुलासा हुआ  प्राप्त जानकारी के मुताबिक अयोध्या का राम मंदिर और वाराणसी आतंकियों के निशाने पर था, जिसके लिए उन्होंने मॉड्यूल तैयार कर रखा था। अयोध्या में भी आतंकी विस्फोट करना चाहते थे। इसके लिए गिरफ्तार हो चुकी शाहीन ने अयोध्या के स्लीपर मॉड्यूल को एक्टिवेट कर रखा था।अयोध्या में ये सारे घटनाक्रम को अंजाम तक पंहुचाते उससे पहले ही इन आतंकियों की गिरफ्तारी और विस्फोटक बरामद हो गए। सूत्र बताते हैं की दरअसल, लाल किला में ब्लास्ट करने की योजना नहीं थी. ऐसा अभी तक जांच में लग रहा है। क्योंकि विस्फोटक में टाइमर या किसी दूसरी चीज़ो का इस्तेमाल नहीं किया गया. हड़बड़ी और जल्दबाज़ी में ब्लास्ट हो गया।

अस्पताल और भीड़भाड़ वाली जगहें निशाने पर थीं
आतंकियों से पूछताछ में पता चला है की ये मॉड्यूल अस्पतालो को टारगेट करना चाहता था ताकि ज्यादा से ज्यादा लोगों को नुकसान हो। इन आतंकियों के हिट लिस्ट में अस्पताल और भीड़ भाड़ वाली जगह थी। लगातार छापेमारी के बाद भारी मात्रा में विस्फोटक व हथियार बरामद करने के बाद सुरक्षा एजेंसीज के सामने इस वक़्त सबसे बड़ी चुनौती है बचे हुए 300 किलोग्राम के अमोनि।

300KG अमोनियम नाइट्रेट की खोज जारी
अलग-अलग जरियों से आया 300 किलोग्राम अमोनियम नाइट्रेट अभी भी आतंकियों ने कहीं छिपा रखा है, जिसके लिए देश के कई हिस्सों में छापेमारी चल रही है। जांच और सुरक्षा एजेंसियां लगातार छापेमारी कर पूरे मॉड्यूल का खुलासा करने की कोशिश कर रही है. प्राप्त जानकारी के मुताबिक गिरफ्तार आतंकियों तक ये विस्फोटक बांग्लादेश के रास्ते नेपाल और फिर हिन्दुस्ततान आया था। किसी फर्टीलाइजर से उक्त अमोनियम नाइट्रेट को चोरी से हासिल किया गया है. आतंकियों द्वारा कुल 3200 किलोग्राम की खेप आई है।